
हर गम को इस दिल में छुपाना सीखा है।
बेवफाई में मिली चोट को भुलाना सीखा है।
इतने आँसू मिले हैं, बेदर्दी तेरे इस प्यार में,
हमने हर दर्द से मुहब्बत जताना सीखा है।
संग मिल देखे थे हमने, कभी ख़्वाब हसीन,
अब सपनों की दुनिया से दूर जाना सीखा है।
तेरे संग हँस के की थी कभी प्यार भरी बातें,
अब आँसू पी, तन्हाई में मुस्कुराना सीखा है।
मिलती नहीं है हर किसी को मंजिल प्यार में,
‘गीत’ ने इस टूटे दिल को समझाना सीखा है।