पूर्व मुख्यमंत्री सह पूर्व राज्यपाल रघुवर दास अपनी दूसरी राजनीतिक पारी शुरू कर रहे हैं। वो कल यानि 10 जनवरी को भाजपा की सदस्यता लेने वाले हैं। इससे पहले वो बुधवार को ही रांची पहुंच गये हैं। रांची में उनकी भाजपा के कुछ नेताओं से भी मुलाकात हुई है। माना जा रहा है कि भाजपा की सदस्यता लेने के बाद पार्टी की तरफ से उन्हें प्रदेश भाजपा की कमान सौंपी जा सकती है। हालांकि पार्टी ने अभी अपने पत्ते नहीं खोले हैं, लेकिन राज्यपाल पद से हटाने के पहले उन्हें पार्टी की तरफ से इसे लेकर पॉजेटिव संकेत मिल चुका है।
अपनी 45 साल की राजनीतिक पारी में रघुवर दास ने कई अहम जिम्मेदारी सत्ता और संगठन में संभाली है। ओड़िशा के राज्यपाल बनाये जाने के बाद उन्होंने प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था, जिसके बाद अब दोबारा से वो 10 जनवरी को रांची में प्राथमिक सदस्यता लेंगे। जानकारी के मुताबिक सदस्यता हासिल करने के बाद वे बाबा वैद्यनाथ धाम, ईटखोरी मंदिर और राजरप्पा मंदिर में पूजा-अर्चना के लिए जाएंगे।
15 जनवरी को सूर्य मंदिर में मकर संक्रांति के अवसर पर आयोजित पतंग उत्सव में शामिल होंगे। माना जा रहा है कि 15 जनवरी के बाद पार्टी की तरफ से उन्हें अहम जिम्मेदारी दी जा सकती है। दरअसल सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद झारखंड में नेता प्रतिपक्ष का भी चयन होना है। बजट सत्र भी शुरू होने वाला है, जाहिर है भाजपा इसी महीने नये प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव के साथ ही नये नेता प्रतिपक्ष के नाम का भी ऐलान कर देगी। रघुवर दास पहले भी बता चुके हैं, कि पार्टी उन्हें जो जिम्मेदारी देगी, वो उसे निभायेंगे।
आपको बता दें कि भारतीय जनता पार्टी को इसबार के विधानसभा चुनाव में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित सीटों पर भी नुकसान उठाना पड़ा है। देवघर, कांके, छतरपुर जैसी सीटों पार्टी हार गई, जबकि एससी समाज से आने वाले उस समय के नेता प्रतिपक्ष अमर कुमार बाउरी भी चंदनकियारी सुरक्षित सीट से चुनाव हार गए।अब केंद्रीय नेतृत्व से मिले निर्देश के बाद प्रदेश भाजपा ने राज्यभर में संविधान गौरव अभियान चलाने का निश्चय किया है।