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नांदेड़ गुरुद्वारा प्रबंधक बोर्ड में सिखों की संख्या घटाये जाने का सीजीपीसी ने किया विरोध, ज्ञापन सौंप जतायेगी अपना विरोध

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जमशेदपुर : तख्त श्री हजूर साहिब नांदेड़ गुरुद्वारा प्रबंधक बोर्ड में सिख संगठनों के सदस्यों की संख्या कम करने के महाराष्ट्र सरकार के फैसले पर सेंट्रल गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (सीजीपीसी) ने कड़ा एतराज जताया है. शुक्रवार को सीजीपीसी के प्रधान सरदार भगवान सिंह ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार की यह कार्रवाई अत्यंत निंदनीय और सिखों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाली है जिसका सीजीपीसी कड़ा विरोध करेगी. सीजीपीसी इस मामले को लेकर शनिवार को ज़िले के उपायुक्त के माध्यम से एक ज्ञापन सरकार को सौंपेगी. सरदार भगवान सिंह ने कोल्हान के सभी गुरुद्वारा प्रतिनिधियों का आह्वान किया है कि वे शनिवार को सुबह सीजीपीसी कार्यालय में इकट्ठा हों ताकि वे एकजुटता का प्रमाण देते हुए ज़िले के उपायुक्त को एक सिख विरोधी फैसले के खिलाफ ज्ञापन सौंपा जा सके.

भगवान सिंह ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार की ओर से तख्त श्री हजूर साहिब नांदेड़ प्रबंधन बोर्ड के अधिनियम में मनमाने ढंग से संशोधन किया गया है. शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के नामित सदस्यों की संख्या कम कर दी गई है. महाराष्ट्र सरकार का जुल्म सहन नहीं किया जाएगा. चेयरमैन सरदार शैलेन्द्र सिंह व महासचिव अमरजीत सिंह के साथ कुलविंदर सिंह पन्नू व चंचल सिंह ने भी सिख विरोधी फैसले की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि सिख पंथ किसी भी कीमत पर अपने पवित्र तीर्थ स्थलों की व्यवस्था में सरकारी हस्तक्षेप बर्दाश्त नहीं करेंगे. गौरतलब है कि महाराष्ट्र सरकार ने तख्त श्री हजूर साहिब प्रबंधक बोर्ड (नांदेड) अधिनियम में संशोधन करते हुए इसके मनोनीत सदस्यों की संख्या में इजाफा कर दिया है. वहीं प्रबंधक बोर्ड में एसजीपीसी के चार सदस्यों से संख्या घटाकर दो कर दिया गया है. संशोधित विधेयक के अनुसार मौजूदा बोर्ड में कुल सदस्यों की संख्या 17 होगी, जिनमें 12 सदस्य सरकार मनोनीत करेगी. वहीं दो सदस्य एसजीपीसी से मनोनीत होंगे. शेष तीन सदस्यों का चयन चुनाव की प्रक्रिया से होगा. पहले सरकार द्वारा मनोनीत सदस्यों की संख्या मात्र सात थी.

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