रामनवमी पर झारखंड के रांची, हजारीबाग और जमशेदपुर सहित तमाम शहरों और गांवों में हनुमान ध्वज-पताकाओं और मनोहारी झांकियों के साथ विशाल शोभायात्राएं निकाली गईं।ज्यादातर जगहों पर आज देर रात तक यह सिलसिला जारी रहेगा। झारखंड में हजारीबाग शहर की रामनवमी सबसे ज्यादा प्रसिद्ध है, जहां शोभायात्रा शनिवार शाम तक जारी रहेगी। इस दौरान लाखों की तादाद में लोग शोभायात्राओं के मार्गों पर जमे रहेंगे। यहां निकाली जानी वाली सैकड़ों झांकियों का कारवां देखने के लिए झारखंड सहित कई राज्यों से लोग पहुंचे हैं। हजारीबाग में रामनवमी शोभायात्रा का यह 105वां वर्ष है।

रांची में रामनवमी के पूर्व बुधवार को विविध झांकियों के साथ निकली शोभायात्रा के समापन के बाद गुरुवार दोपहर बाद ध्वज-पताकाओं और गाजे-बाजे के साथ निकाले गए जुलूस में तीन लाख से भी ज्यादा लोग शामिल हैं। शहर की तमाम सड़कों के दोनों ओर लाखों ध्वज लगाए गए हैं। शहर और आसपास के 500 से भी ज्यादा अखाड़ों से निकाले गए अलग-अलग जुलूस का समागम रांची के प्रसिद्ध महावीर चौक पर हुआ। विभिन्न अखाड़े के लोगों ने अस्त्र-शस्त्र परिचालन का शानदार प्रदर्शन किया। विशाल ध्वज शोभायात्रा के आकर्षण रहे। सबसे विशाल ध्वज 751 मीटर का रहा। सैकड़ों मीटर लंबे कई ध्वज जब लहराए गए तो पूरा शहर जय श्रीराम के नारों से गूंज उठा। दस किलोमीटर से भी ज्यादा लंबे मार्ग से गुजरता हुआ विशाल जुलूस डोरंडा के प्राचीन तपोवन मंदिर पहुंचा। राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भी तपोवन मंदिर में गुरुवार शाम पूजा अर्चना की और शोभायात्रा में शामिल लोगों को पर्व की बधाई और शुभकामनाएं दीं। रांची के अलावा जमशेदपुर, बोकारो, धनबाद, चतरा, गिरिडीह, देवघर, पलामू, लातेहार, लोहरदगा, गुमला, सिमडेगा, कोडरमा, रामगढ़, चाईबासा, सरायकेला-खरसावां, दुमका, गोड्डा, पाकुड़, साहिबगंज सहित कई शहरों में भी शोभायात्राएं निकाली गईं।